पंजाब
*पुस्तक “परिमार्जित इकिगाई” का नवांशहर में आगाज,दीर्घायु के लिए स्वस्थ जीवनशैली अपनाना जरूरी: डी सी* *
नवांशहर: जापानी और भारतीय रहस्यों का संगम, जिंदगी की वास्तविक सच्चाइयों से प्रेरित, आनंदमय सफल स्वस्थ एवं दीर्घायु जीवन लक्ष्य की ओर मार्गदर्शन करने वाली पुस्तक “परिमार्जित इकिगाई” का जिला शहीद भगत सिंह में आगाज करते हुए डिप्टी कमिश्नर नवजोत पाल सिंह रंधावा ने कहा कि आज के दौर में दीर्घायु जीवन जीने के लिए स्वस्थ जीवन शैली का बहुत महत्त्व है।
हिंदी में ‘परिमार्जित’ का अर्थ है ‘सुधार’ और ‘इकिगाई’ जापानी शब्द में ‘इकि’ का अर्थ है जीवन और ‘गाई’, का अर्थ है आशा और अपेक्षाओं की प्राप्ति। अपने जीवन के उद्देश्य की खोज यानि इकिगाई, जीवन को रसभरा बनाने में मदद करती है। अपनी ‘इकिगाई’ जानने से जीवन के पेशे और मिशन से भी ऊपर, जीवन जीने के असली उद्देश्य को खुद जानने में मदद मिलती है”, इसके लेखक अश्विनी जोशी ने बताया।
संक्षेप में, इस ब्रह्मांड में हमारे जीने के असली उद्देश्य की खोज ही है इकिगाई की खोज, जो हमें आनंदमय दीर्घायु भी प्रदान कराती है।
गौरतलब है कि ‘परिमार्जित इकिगाई’ पुस्तक का पंजाब में विमोचन, पंजाब के राज्यपाल(एवं प्रशासक चंडीगढ) महामहिम श्री बनवारी लाल पुरोहित द्वारा राज भवन पंजाब से किया जा चुका है।
महाराष्ट्र में मुंबई से माजी शिक्षण मंत्री और मुंबई के बीजेपी अध्यक्ष श्री आशीष शेलार, विधायक प्रसाद लाड द्वारा
विमोचन किया गया है।
लगभग 160 देशों की यात्रा कर चुके, मर्चेंट मैरीन इंजीनियर, लेखक अश्विनी जोशी ने एक अद्वितीय चित्रमय तरीके से लिखा है जो पाठकों को अब आसानी से अपनी ‘इकिगाई’ को जानने में मदद करेगा, अन्यथा यह एक जटिल कार्य था।
‘परिमार्जित इकिगाई’ में अनेकों शोध आधारित शक्तिशाली व सिद्ध भारतीय और जापानी अवधारणाएं हैं। पुस्तक में विश्वप्रसिद्ध शिंकानसेन सिद्धांत के माध्यम से, लेखक ने यह भी बताया है कि किसी व्यक्ति या राष्ट्र को प्रगति में बड़ी छलांग लगाने की इच्छा होने पर किसी भी चालू प्रणाली में पूर्ण परिवर्तन की हिम्मत क्यों करनी चाहिए।
पुस्तक ‘परिमार्जित इकिगाई’ सभी क्षेत्रों के लोगों को विशेष रूप से छात्रों को व्यवसाय, पेशे, जुनून और विशेष उद्देश्य (वोकेशन, प्रोफेशन, पैशन, मिशन) का सही अनुपात चुनने में मदद करेगी, जिसके परिणामस्वरूप ‘जीने का असली उद्देश्य’ प्रगट होता है, जो खुश, हर्षित, संतुष्ट, स्वस्थ और लंबे जीवन से इंसान को पुरस्कृत करता है।
‘परिमार्जित इकिगाई’ में लेखक ने दुनिया के पांच नीले क्षेत्रों को छूते हुए जहां ज्यादातर लोग 100 साल के करीब लम्बा जीवन जीते हैं, के बारे लिखा है कि वे लोग कैसे जीने के उचित उद्देश्य के साथ दीर्घायु और खुशहाल जीवन जीते है। सक्रिय रहते हैं और कभी भी जीवन में रिटायर नहीं होते।
दुनिया के पांच नीले क्षेत्र (जापान, इटली, कैलिफोर्निया, कोस्टारिको व ग्रीस में) जहां लोग दीर्घायु व तनाव रहित जीवन जीतें हैं , के बारे अत्यधिक प्रेरक तथ्य भी बताएं हैं।
‘परिमार्जित इकिगाई’ हिंदी पुस्तक श्रॉफ पब्लिशर्स द्वारा मुंबई से प्रकाशित की गई है, अमेज़न पर भी उपलब्ध है।